NCERT History Ch 1 Class 10 यूरोप में राष्ट्रवाद का उदय
इस आर्टिकल में हम आपको NCERT History Ch 1 Class 10 Solutions यूरोप में राष्ट्रवाद का उदय समाधान प्रदान कर रहे है. यहाँ आपको पाठ्यपुस्तक के प्रश्नों के अतिरिक्त परीक्षा उपयोगी अन्य प्रश्नों के समाधान भी आसान भाषा में मिल जाएंगे.
NCERT History Ch 1 Class 10 बहुवैकल्पिक प्रश्न:
1. नैपोलियन ने इटली पर आक्रमण कब किया?
1. 1821
2. 1905
3. 1797
4. 1795
उत्तर- (4) 1797
2. 19वीं सदी में ऐसी कौन सी ताकत उभरी जिसने यूरोप की राजनैतिक और भौतिक दुनिया में भारी परिर्वतन किये?
1. राष्ट्र राज्य का उदय
2. निरंकुश राज्य का उदय
3. पूर्ण तानाशाही
4. पूर्ण राजशाही
उत्तर- (1) राष्ट्र राज्य का उदय
3. निम्न में से कौन सा लक्षण नेपोलियन की संहिता का लक्षण नही था?
1. जन्म पर आधारित सुविधाओं का ना होना।
2. सम्पत्ति का अधिकार
3. सब के लिये व्यस्क मताधिकार
4. कानून के समक्ष समानता
उत्तर- (3) सब के लिये व्यस्क मताधिकार
4. वियना कांग्रेस किस वर्ष में आयोजित की गई?
1. 1815
2. 1816
3. 1817
4. 1818
उत्तर- (1) 1815
5. निम्न में कौन 1815 की वियना सन्धि से सम्बन्धित है?
1. विस्मार्क
2. डयूक मैटरनिख
3. डयूसेपी मेत्सिनी
4. नेपोलियन
उत्तर- (2) डयूक मैटरनिख
6. नैपोलियन युद्धो के दौरान हुये बदलावों को खत्म करना किस सन्धि का उद्देश्य था?
1. वर्साय सन्धि
2. वियना सन्धि
3. म्यूनिख समझौता
4. उपरोक्त सभी
उत्तर- (2) वियना सन्धि
7. किसने कहा था कि जब फ्रांस छींकता है तो बाकि यूरोप को सर्दी जुकाम हो जाता है?
1. लुई फिलिप
2. बिस्मार्क
3. विक्टर इमेन्युअल
4. मैटरनिख
उत्तर- (4) मैटरनिख
8. किस संधि ने यूनान को एक स्वतन्त्र देश के रूप में मान्यता दी?
1. 1815 की वियना संधि
2. कांटेन्टीनोपाल संधि
3. सार्डिनिया – पीडमाण्ड की संधि
4. उपरोक्त में से कोई नही
उत्तर- (2) कांटेन्टीनोपाल संधि
9. आयरलैन्ड में प्रोटेस्टेन्ट के विरूद्ध आन्दोलन का नेतृत्व किसने किया?
1. गैरीबाल्डी
2. वोल्टफटोन
3. मेत्सिनी
4. कापूर
उत्तर- (2) वोल्टफटोन
10. आखों पर पट्टी बांधे हुई और तराजू लिये हुये महिला किस बात का प्रतीक है?
1. शान्ति
2. समानता
3. न्याय
4. स्वतन्त्रता
उत्तर- (3) न्याय
1 अंक वाले प्रश्न प्रश्न
1. फ्रेडरिक सॉरयू कौन था ?
उतर- फ्रांसीसी चित्रकार
प्रश्न 2. अंस्ट रेनन कौन था ?
उत्तर- फ्रांसीसी दार्शनिक
प्रश्न 3. जर्मन राष्ट्र का रूपक क्या था ? वह किस बात का प्रतीक था ?
उत्तर- जर्मेनिया | जर्मन बलूत वीरता का प्रतीक है |
प्रश्न 4. मांटेस्क्यू ने किस सिद्धांत का प्रतिपादन किया ?
उत्तर- शक्ति पृथक्करण का सिद्धांत या अधिकार विभाजन
प्रश्न 5.कौन सी विश्वविख्यात घटना को राष्ट्रवाद की पहली स्पष्ट अभिव्यक्ति माना जाता है ?
उत्तर- फ्रांसीसी क्रांति
प्रश्न 6. जॉलवेराइन क्या था व किस प्रकार वह जर्मनी के आर्थिक एकीकरण का प्रतीक था?
उत्तर- एक जर्मन शुल्क संघ | अधिकांश जर्मन राज्य शामिल थे | 1834 में स्थापित इस संघ ने विभिन्न जर्मन राज्यों के बीच शुल्क अवरोधों को समाप्त किया व मुद्राओं की संख्या तीस से दो कर दी | इस प्रकार यह आर्थिक एकीकरण का प्रतीक था |
प्रश्न 7. मेत्सिनी द्वारा स्थापित दो भूमिगत संगठनों के नाम लिखिए।
उत्तर- 1) यंग इटली 2) यंग यूरोप
प्रश्न 8. 19वीं सदी में ऐसी कौन सी ताकत उभरी जिसने यूरोप की राजनैतिक और भौतिक दुनिया में भारी परिवर्तन किये ?
उत्तर- राष्ट्र राज्य का उदय
प्रश्न 9. बाल्कन क्षेत्र के निवासियों की क्या कहा जाता था ?
उत्तर- स्लाव
प्रश्न 10. वियना कांग्रेस किस वर्ष आयोजित की गई?
उत्तर- 1815
प्रश्न 11. 1815 की वियना सन्धि से किसका सम्बन्ध है ?
उत्तर- ड्यूक मैटरनिख
प्रश्न 12. नेपोलियन युद्धों के दौरन हुए बदलावों को ख़त्म करना किस संधि का उद्देश्य था?
उत्तर- वियना संधि
प्रश्न 13. किसने कहा था कि जब फ्रांस छींकता है तो बाकी यूरोप को सर्दी जुकाम हो जाता है ?
उत्तर- मैटरनिख
प्रश्न 14. किस संधि ने यूनान को एक स्वतंत्र देश के रूप में मान्यता दी ?
उत्तर- कांस्टेंटीनोपाल संधि
प्रश्न 15. आयरलैंड में प्रोटेस्टेन्ट के विरूद्र आंदोलन का नेतृत्व किसने किया?
उत्तर- वोल्फटोन
प्रश्न 16. आँखों पर पट्टी बांधे हुए और तराजू लिये हुए महिला किस बात का प्रतीक है ?
उत्तर- न्याय
लघु/दीर्घ प्रश्न (3/5 अंक वाले) प्रश्न
1. फ्रांसीसी क्रांन्तिकारियों ने फ्रांसीसी लोगों में सामूहिक पहचान की भावना किस प्रकार पैदा की ?
उत्तर- – पितृभक्ति और नागरिकता के विचार
• नए राष्ट्रीय चिन्ह
• केन्द्रीकृत प्रशासनिक व्यवस्था
• राष्ट्रीय भाषा
• एक समान भार व मान की व्यवस्था।
प्रश्न 2. नेपोलियन ने प्रशासनिक क्षेत्र में क्रांतिकारी सिद्धांती का समावेश किया जिसने पूरी व्यवस्था को अधिक कुशल व तर्कसंगत बना दिया। समीक्षा कीजिए?
उत्तर- नेपोलियन की संहिता
• ग्रामीण प्रशासनिक व्यवस्था में सुधार
• शहरी क्षेत्र में सुधार
• व्यापार में सुधार
प्रश्न 3. यूरोप के “राष्ट्र” के विचार के निर्माण में संस्कृति ने किस प्रकार महत्वपूर्ण भूमिका निभाई ?
उत्तर 1. कला, काव्य, कहानियों, संगीत ने राष्ट्रवादी भावनाओं को विकसित किया
2. लोकगीत, जन-काव्य व लोक नृत्य
3. स्थानीय बोलियों व लोक साहित्य पर बल
4. भाषा
प्रश्न 4. जर्मनी के एकीकरण की प्रक्रिया का वर्णन कीजिए ?
उत्तर 1. आरंभ विलियम प्रथम के प्रशा के सिंहासन पर आसीन होना।
2. बिस्मार्क द्वारा जर्मन एकीकरण की भूमिका तैयार करना।
3. वियना कांग्रेस
4. एकीकरण में बाधाएँ
5. बिस्मार्क द्वारा ऑस्ट्रिया, फ्रांस आदि पराजित, विश्व शक्तियों को तटस्थ किया व एकीकृत जर्मनी का एक राष्ट्र के रूप में उभरना।
प्रश्न 5. इटली के एकीकरण की प्रक्रिया का वर्णन करें। इसके मार्ग में आने वाली मुख्य बाधाएं क्या थीं?
उत्तर- एकीकरण की प्रक्रिया :1832 – कावूर सार्जीनिया का प्रधानमंत्री बना। फ्रांस से संधि, ऑस्ट्रिया पराजित व 1859 में लुबार्डों को राज्य में मिला लिया। द्वीतीय चरण – मोडेना, टस्कनी, पार्मा आदि का जनमत संग्रह द्वारा सार्डीनिया में विलय। तृतीय चरण – 1860 में गैरीबाल्डी द्वारा सिसली व नेपल्स पर विजय। चतुर्थ चरण – वेनेशिया व रोम पर अधिकार। 1871 में पोप से समझौता व एकीकृत इटली का उदय।
एकीकरण में बाधाएँ :
1. राजनीतिक विखंडन का लंबा इतिहास
2. विदेशी शक्तियों का आधिपत्य
3. पोप का शासन
4. वियना कांग्रेस
5. अनुदारवादी शासक।
प्रश्न 6. ब्रिटेन में राष्ट्र राज्य का निर्माण एक लंबी प्रक्रिया का परिणाम किस प्रकार था ?
उत्तर- यह किसी उथल-पुथल या क्रांति का नहीं, एक लंबी चलने वाली प्रक्रिया का नतीजा था।
• पहले नृजातीय पहचान। राष्ट्र की अहमियत व सत्ता में वृद्धि।
• 1688 में राजतंत्र से संसद द्वारा ताकत छीने जाना
• 1707 में यूनाइटेड किंगडम ऑफ ब्रिटेन का गठन।
• स्कॉटलैंड पर प्रभुत्व। आयरलैंड को 1801 में बलपूर्वक यूनाईटेड किंगडम में शामिल किया गया।
• नए ब्रिटिश राष्ट्र का निर्माण। आंग्ल संस्कृति का दबदबा।
• राष्ट्र के प्रतीक – झंडा व राष्ट्रगान को बढ़ावा। पुराने राष्ट्र मात्र सहयोगी रूप में।
प्रश्न 7. यूरोप में राष्ट्रवाद के उत्थान के लिए कौन से कारण उत्तरदायी थे?
उत्तर- यूरोप पर प्रभाव – 1) राष्ट्र-राज्यों का उदय,
2) लोकतंत्रीय सिद्धांत को बढावा,
3) सामाजिक, राजनैतिक, आर्थिक समानता पर बल
4) अन्य राष्ट्रो में मानवीय अधिकारों की मांग
5) निरंकुश राजतंत्रों में क्रांतिकारी प्रतिक्रियाएँ।
प्रश्न 8. फ्रांसीसी क्रांति का न केवल फ्रांस पर अपितु पूरे विश्व पर गहरा प्रभाव पड़ा। समीक्षा कीजिए ?
उत्तर- फ्रांस पर प्रभाव – 1) लोकतांत्रिक शासन की स्थापना,
2) लोक कल्याणकारी कार्य,
3) समानता, स्वतंत्रता, भ्रातृत्व से भरे नए समाज की नींव,
4) नवीन कानून संहिता लागू,
5) नेशनल असेंबली का गठन,
6) आर्थिक एकीकरण,
7) कानून के समक्ष बराबरी,
8) संपत्ति का अधिकार सुरक्षित।
1) मध्यम वर्ग का उदय, 2) उदारवादी विचारधारा का प्रारंभ, 3) यूनान का स्वतंत्रता संग्राम, 4) संस्कृति व भाषा की भूमिका, 5) जन विद्रोह
प्रश्न 9. 1804 की नागरिक संहिता के प्रावधानों का उल्लेख कीजिए ?
उत्तर 1. जन्म पर आधारित सुविधाओं की समाप्ति।।
2. संपत्ति के अधिकार की बहाली
3. जमींदारी व सामंती व्यवस्था की समाप्ति।
4. यातायात तथा संचार व्यवस्था में सुधार।
5. मानक नाप-तौल के पैमाने चलाए गए।
6. एक राष्ट्र मुद्रा चलाई गई।
प्रश्न 10. यूरोप के कुलीन वर्ग की विशेषताएँ लिखिए?
उत्तर- जीवन जीने की समान शैली
• भूस्वामित्व
• कुटनीतिक भाषा
• आपस में वैवाहिक संबंध
• उच्च वर्गों के बीच फ्रेंच भाषा का प्रयोग
प्रश्न 11. 1815 की वियना संधि के उद्देश्य बताइए। इसके प्रमुख प्रस्ताव व व्यवस्थाओं का वर्णन कीजिए।
उत्तर- उत्तर नीदरलैंड में साम्राज्य की स्थापना
• दक्षिण में जेनेवा को पिडमाण्ट के साथ मिला दिया गया।
• प्रशा को पश्चिम में नए क्षेत्र दिए गए।
• पूर्व में रूस को पोलैंण्ड का हिस्सा दे दिया गया।
• ऑस्ट्रिया को उत्तरी इटली का नियंत्रण सौंपा गया।
प्रश्न 12. यूरोप में उदारवादियों द्वारा समर्थित राजनैतिक, सामाजिक और आर्थिक आदर्श क्या थे?
उत्तर 1. कानून के समक्ष समानता
2. व्यस्क मताधिकार के पक्ष में नहीं
3. बाज़ार की स्वतंत्रता तथा राज्य द्वारा वस्तुओं एवं पूंजी के प्रवाह पर लगे प्रतिबन्ध को समाप्त करने के पक्षधर।
प्रश्न 13. औद्योगिकरण की वृद्धि ने किस प्रकार यूरोप के सामाजिक और राजनैतिक समीकरण बदल दिए?
उत्तर 1. पश्चिमी और मध्य यूरोप के हिस्सों में औद्योगिक उत्पादन और व्यापार में वृद्धि। शहरों का विकास और वाणिज्यिक वर्गों का
उदय।
2. श्रमिक व मध्य वर्ग का उदय।
3. कुलीन विशेषाधिकार की समाप्ति के विचारों की लोकप्रियता।
प्रश्न 14. यूरोप के राष्ट्रवादी संघर्षों में महिलाओं की भूमिका क्या थी ?
उत्तर- स्वयं के राजनैतिक संगठन बनाना।
• समाचार पत्रों का प्रकाशन।
• मताधिकार प्राप्त नहीं। मताधिकार प्राप्ति हेतु संघर्ष।
• राजनैतिक बैठकों तथा प्रदर्शनों में हिस्सा लेना।
प्रश्न 15. 19वीं सदी में यूरोप में राष्ट्रवाद की लहर के क्या कारण थे?
उत्तर 1. जनता पर अत्याचार
2. निरंकुश शासन व्यवस्था
3. उदारवादी विचारों का प्रसार
4. स्वतंत्रता, समानता तथा बंधुत्व का नारा।
5. शिक्षित मध्य वर्ग की भूमिका।
प्रश्न 16. 1815-1914 के दौरान अन्तर्राष्ट्रीय आर्थिक विनिमय केन्द्रों के तीन प्रवाहों को विस्तार से लिखिए?
उत्तर 1. वस्तुओं का प्रवाह
2. पूंजी का प्रवाह
3. लोगों का प्रवाह।
प्रश्न 17. फ्रांसीसी क्रान्तिकारियों ने फ्रांसीसी लोगों में सामूहिक पहचान की भावना किस प्रकार पैदा की।
उत्तर1. पितृभक्ति और नागरिक के विचार
2. नये राष्ट्रीय चिन्ह
3. केन्द्रियकृत प्रशासनिक व्यवस्था
4. राष्ट्रीय भाषा
5. एक समान भार व मान की व्यवस्था
प्रश्न 18. नेपोलियन द्वारा लागू किये गये प्रसासनिक सुधारो के विषय में बताइये?
उत्तर 1. नेपोलियन की संहिता
2. ग्रामीण प्रशासनिक व्यवस्था में सुधार
3. शहरी क्षेत्रों में सुधार
4. व्यापार में सुधार
प्रश्न 19. 1804 की नागरिक संहिता के प्रावधानों का उल्लेख करो?
उत्तर-
- जन्म पर आधारित सुविधाओं की समाप्ति
- सम्पत्ति के अधिकार की बहाली
- जमीदारी व सामंती व्यवस्था की समाप्ति
- यातायात तथा संचार व्यवस्था में सुधार
प्रश्न 20. यूरोप के कुलीन वर्ग की विशेषतायें बताओ?
उत्तर-
- जीवन जीने की समान शैली
- भू-स्वामित्व
- कुटनीतिक भाषा
- आपस में वैवाहिक सम्बन्ध
प्रश्न 21. यूरोप में उदारवादियों द्वारा समर्पित राजनैतिक, सामाजिक और आर्थिक आदर्श क्या थे?
उत्तर-
- कानून के समक्ष समानता
- व्यस्क मताधिकार के पक्ष में नहीं
- वे बाजार की स्वतन्त्रता तथा राज्य द्वारा वस्तुओं एवं पूंजी के प्रवाह पर लगे प्रतिबन्ध को समाप्त करने के पक्षधर
प्रश्न 22. 1815 की वियना संधि में उद्देशय बताइये?
उत्तर-
- उत्तर में नीदरलैंड साम्राज्य की स्थापना
- दक्षिण में जेनेवा को पिडमाण्ड के साथ मिला दिया
- प्रशा को पश्चिम में नये क्षेत्र दिये गये।
- पूर्व में रूस को पोलेंड का एक हिस्सा दे दिया गया।
प्रश्न 23. औद्योगिकरण की वृद्धि ने किस प्रकार यूरोप के सामाजिक और राजनैतिक समीकरण बदल दिये?
उत्तर-
- पश्चिमी और मध्य यूरोप के हिस्सों में औद्योगिक उत्पादन और व्यापार में वृद्धि से शहरों का विकास और वाणिज्यिक वर्गो का उदय हुआ।
- श्रमिक और मध्य वर्ग का उदय
- कुलीन विशेषाधिकारों की समाप्ति के विचारो की लोकप्रियता
प्रश्न 24. 1815-1914 के दौरान अर्न्तराष्ट्रीय आर्थिक विनियम केन्द्रों के साथ तीन प्रकार के प्रवाहों को बताइये?
उत्तर-
- वस्तुओं का प्रवाह
- पूँजी का प्रवाह
- लोगों का प्रवाह
प्रश्न 25. यूरोप के राष्ट्रवादी संघर्षो में महिलाओं की भूमिका क्या थी?
उत्तर-
- स्वयं की राजनैतिक संगठने बनाई
- समाचार पत्रों का प्रकाशन
- मताधिकार की प्राप्ति नहीं
- राजनैतिक बैठकों तथा प्रदर्शनों में हिस्सा
प्रश्न 26. 19 वीं सदी में यूरोप में राष्ट्रवाद की लहर के कारण?
उत्तर-
- जनता पर अत्याचार
- निरंकुश शासन व्यवस्था
- उदारवादी विचारों का प्रसार
- स्वतन्त्रता, समानता तथा बंधुत्व का नारा
- शिक्षित मध्य वर्ग की भूमिका
NCERT Class 10 Social Science Chapter 1 Solutions History अतिरिक्त प्रश्न (परीक्षा-उपयोगी)
1 अंक वाले प्रश्न
प्रश्न – निरंकुशवाद को परिभाषित कीजिए ।
उत्तर – ऐसी शासन व्यवस्था जिसकी सत्ता पर किसी प्रकार का कोई अंकुश नहीं होता ये अत्यंत केन्द्रीकृत , सैन्य बल पर आधारित और दमनकारी सरकारें होती हैं ।
प्रश्न – कल्पनादर्श सं क्या तात्पर्य हैं?
उत्तर – एक ऐसे समाज की कल्पना जो इतना आदर्श है। कि उसका साकार होना लगभग असंभव होता हैं ।
प्रश्न – 1789 में फ्रांसीसी क्रांति के पश्चात् फ्रांस में आए दो बदलावों का वर्णन करो ।
उत्तर –
1. प्रभुत्ता राजतंत्र से निकलकर फ्रांसीसी नागरिकों के हाथ में आ गई ।
2. लोगों द्वारा राष्ट्र का गठन और वे ही इसकी नीतियाँ तय करेंगे |
प्रश्न – आघौगिकीकरण के फलसवरूप यूरोप में कौन से नए सामाजिक समूह अस्तित्व में आए।
उत्तर – श्रमिक वर्ग के लोग और मध्य वर्ग जो उद्योगपति इत्यादि ।
प्रश्न – उदारवाद का अर्थ बताइए ।
उत्तर – उदारवाद यानि (libration) मध्य वर्गो के लिए उदारवाद का मतलब था व्यक्ति के लिए आजादी और कानून के समक्ष बराबरी ।
प्रश्न – 19वीं शताब्दी में उदारवाद की आर्थिक क्षेत्र में प्रमुख मांग क्या थी?
उत्तर – उदारवाद , बाजारों की मुक्ति और चीजों तथा पूँजी के आवागमन पर राज्य द्वारा लगाए गए निंयत्रणो को खत्म करने के पक्ष में था ।
प्रश्न – शुल्क संघ का मुख्य कार्य लिखो ।
उत्तर – शुल्क संघ के मुख्य कार्य निम्नलिखित हैं:
1. इस संघ ने शुल्क अवरोधों को समाप्त कर दिया ।
2. मुद्राओं की संख्या तीस से घटाकर दो कर दी गई ।
प्रश्न – रूढ़िवादी किन प्रांरपारिक संस्थाओ को बनाए रखने के पक्ष में थे?
उत्तर – रूढ़िवादी राजतंत्र , चर्च , सामाजिक ऊँच-नीच , संपत्ति और परिवार को बनाए रखने के पक्ष में थे |
प्रश्न – कुलीन वर्ग यूरोप महाद्वीप का सबसे प्रभुत्वशाली वर्ग क्यों था?
उत्तर – कुलीन वर्ग यूरोप महाद्वीप का सबसे प्रभुत्वशाली वर्ग था जिसके कारण निम्नलिखिज हैं:
1. इस वर्ग के सदस्य साक्षा जीवन शैली से बँधे हुए थे जो क्षेत्रीय विभाजनों के आर पर व्याप्त थी |
2. वे ग्रमीण क्षेत्रों में जायदाद और शहरी हवेलियों के मालिक थे ।
प्रश्न – ज्युसेपी मेत्सिनी ने किन दो भुमिगत संगठनों की स्थापना की?
उत्तर – ज्युसेपी मेत्सिनी ने निम्नलिखित दो भूमिगत संगठनों की स्थापना की:
1. मार्सेई में यंग इटली
2. बर्न में यंग यूरोप
प्रश्न – कब और किस संधि के द्वारा यूनान को एक स्वतंत्र राष्ट्र के रूप में मान्यता मिली?
उत्तर – 1832 की कुस्तुनतुनिया की संधि ने यूनान को एक स्वतंत्र राष्ट्र कर मान्यता दी ।
प्रश्न – ‘ रूमनीवाद ’ किस विचारधारा का प्रतिनिधित्व कर रहा था?
उत्तर – ‘ रूमनीवाद ’ एक साक्षा सामूहिक विरासत की अनुूभूति और एक सांस्कृतिक अतीत को राष्ट्र का आधार बनाया गया था ।
प्रश्न – ‘कैराल कुर्पिस्की ’ का पौलेंड के राष्ट्रीय संघर्ष में योगदान बताइए ।
उत्तर – ‘कैराल कुर्पिस्की ’ ने राष्ट्रीय संघर्ष का अपने आॅपेरा और संगीत से गुणगान किया और पोलेनेस और मरजुरका जैसे लोकनृत्यों को राष्ट्रीय प्रतीक में बदल दिया ।
प्रश्न – ब्रितानी राष्ट्र मे रहने वाले प्रमुख नृजातीय समूह कौन से थे?
उत्तर – ब्रितानी राष्ट्र मे रहने वाले प्रमुख नृजातीय समूह अंग्रेज , वेल्श , स्काॅट या आयरिश थे ।
प्रश्न – उदारवादी आंदोलन में महिलाओं की सक्रिय भूमिका के दो बिंदु लिखो ।
उत्तर – उदारवादी आंदोलन में महिलाओं की सक्रिय भूमिका निम्न हैं:
1. महिलाओं ने अपने राजनीतिक संगठन स्थापित किये |
2. उन्होंने अखबार शुरू किए और राजनीतिक बैठकों और प्रदर्शनों में शिरकत की ।
प्रश्न – फ्रांसीसी क्रांति के रूपक चिन्ह् कौन थे ?
उत्तर – फ्रांसीसी क्रांति के रूपक चिन्ह् – मरीआॅन , लाल टोपी , तिरंगा और कलगी थे ।
प्रश्न – जर्मेनिया का अर्थ बताइए ।
उत्तर – जर्मेनिया जर्मन राष्ट्र का रूपक , चाक्षुष अभिव्यक्तियों में बलूत वृक्ष के पत्तों का मुकुट पहनाती है। क्योंकि जर्मन बलूत वीरता का प्रतीक हैं ।
प्रश्न – बाल्कन क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले दो प्रमुख राज्यों के नाम लिखो ।
उत्तर – बाल्कन क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले दो प्रमुख राज्य आधुनिक रोमानिया, बुल्गारिया, यूनान इत्यादि थे |
प्रश्न – जनमत संग्रह का क्या तात्पर्य हैं ?
उत्तर – एक प्रत्यक्ष मतदान जिसके जरिए एक क्षेत्र के सभी लोगों से एक प्रस्ताव को स्वीकार या अस्वीकार कराया जाता हैं ।
3 अंक वाले प्रश्न:
प्रश्न – राष्ट्र राज्य की तीन विशेषताँए बताइए ।
उत्तर – राष्ट्र राज्य की तीन विशेषताँए निम्नलिखित हैं:
1. इसमें जनता को अपने शासक को चुनने कर अधिकार होता हैं ।
2. सभी नागरिकों के समान कानून बनाए जाते हैं ।
3. लोगों द्वारा राष्ट्र का गठन होता है हैं और वे ही इसकी नीतियाँ तय करते हैं |
प्रश्न – फ्रांसीसी सेना का शुरूआती उत्साह शीघ्र ही लोगों में विरोध का कारण क्यों बन गया?
उत्तर – फ्रांसीसी सेना का शुरूआती उत्साह शीघ्र ही लोगों में विरोध का कारण बन गया क्योंकि जब यह साफ होने लगा कि नयी प्रशासनिक व्यवस्थाँए राजनीतिक स्वतंत्रता के अनुरूप नहीं थी । बढ़े हुए कर , सेसरशिप और बाकी यूरोप को जीतने के लिए फ्रेंच सेना में जबरन भर्ती इत्यादि प्रमुख कारण थे ।
प्रश्न – 19वीं शताब्दी में उदारवादी विचारधारा के राजनैतिक उद्देश्यों की समीक्षा कीजिए ।
उत्तर – 19वीं शताब्दी में उदारवादी विचारधारा , राजनीतिक रूप से एक ऐसर सरकार पर जोर देता था जो सहमति से बनी हो । फ्रांसीसी क्रांति के बाद उदारवाद निंरकुश शासक और पादरीवर्ग के विशेषाधिकारों की समाप्ति , संविधान तथा संसदीय प्रतिनिधि सरकार का पक्षधर था । 19वीं शताब्दी के उदारवादी निजी संपति के स्वामित्व की अनिवार्यता पर भी बल देता था ।
प्रश्न – 1830 के फ्रांसीसी विरोध के तीन परिणामों की व्याख्या करो ।
उत्तर – 1830 के फ्रांसीसी विरोध के तीन परिणाम निम्नलिखित हैं:
1. 1830 के फ्रांसीसी विरोध के परिणामस्वरूप बूर्बो राजा जिन्हें 1815 के बाद हुई रूढ़िवादी प्रतिक्रिया में सत्ता पर बहाल किया गया था उन्हें अब क्रांतिकारियों ने उखाड़ फेंका ।
2. फ्रांस में सत्ता अब लुई फिलीप को सौंपी गई ।
प्रश्न – जर्मन दार्शनिक योहान गाॅटफ्रीड के विचारों की तीन बिन्दुओं में विवेचना कीजिए |
उत्तर –
1. जर्मन दार्शनिक योहान गाॅटफ्रीड ने दावा किया कि सच्ची जर्मन संस्कृति उसके आमलोगों में निहित थी |
2. राष्ट्र की सच्ची आत्मा लोकगीतों , जनकाव्य और लोकनृत्यों से प्रकट होती थी ।
3. स्थानीय बोलियों पर बल और स्थानीय लोक साहित्य को एकत्र करने का उदेश्य केवल प्राचीन भावना को वापिस लाना नहीं था बल्कि आधुनिक राष्ट्रीय संदेश को ज्यादा लोगों तक पहुँचाना था जिनमें से अधिकांश निरक्षर थे ।
दीर्घ-उत्तरीय प्रश्नोत्तर
4 अंक वाले प्रश्न:
प्रश्न – ‘पौलेंड’ में राष्ट्रीय भावनाओं के विकास मंे भाषा ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई उदाहरण देकर समझाइए ।
उत्तर – ‘पौलेंड’ में राष्ट्रीय भावनाओं के विकास में भाषा ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई । रूसी कब्जे के बाद पोलिश भाषा को स्कूलों से बलपूर्वक हटाकर रूसी भाषा को हर जगह जबरन लादा गया । 1831 में रूस के विरूद्ध एक सशस्त्र विद्रोह हुआ जिसे आखिरकार कुचल दिया गया दिया । इससे अनेक सदस्यों ने राष्ट्रवादी विरोध के लिए भाषा को एक हथियार बनाया । चर्च के आयोजनों और संपूर्ण धार्मिक शिक्षा में पोलिश का इस् कि बड़ी संख्या में पादरियों और बिशपों को जेल में डाल दिया गया । इस तरह पोलिश भाषा रूसी प्रभुत्व के विरूद्ध संघर्ष के प्रतीक में देखी जाने लगी ।
प्रश्न – फ्रैंकफर्ट संसद के जर्मन राष्ट्र निर्माण में योगदान का उल्लेख कीजिए ।
उत्तर – जर्मन इलाकों में बड़ी संख्या में फ्रैंकफर्ट शहर में मिलकर एक सर्व जर्मन एसेंबली के पक्ष में मतदान का फैसला किया । 18 मई 1848 को 831 निर्वाचित प्रतिनिधियों पे एक सजे धजे जुलुस में जाकर फ्रैंकफर्ट संसद में अपना स्थान ग्रहण किया । यह संसद सेंट पाॅल चर्च में आयोजित हुई | उन्होंने एक जर्मन राष्ट्र के लिए एक संविधान का प्रारूप तैयार किया । संविधानवाद की राष्ट्रीय माँग को राष्ट्रीय एकीकरण की माँग से जोड़ दिया गया । उन्होने बढ़ते जन संतोष का फायदा उठाया और एक राष्ट्र राज्य के निर्माण की माँगों को आगे बढ़ाया । इस तरह फ्रैंकफर्ट संसद के जर्मन राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान दिया ।
प्रश्न – 1871 के बाद बाल्कन क्षेत्र यूरोप में गंभीर राष्ट्रवादी तनाव का कारण बन गया, कथन के संदर्भ में तीन तर्क दीजिए ।
उत्तर – 1871 के बाद बाल्कन क्षेत्र यूरोप में गंभीर राष्ट्रवादी तनाव का कारण बन गया जिसके निम्न कारण है :
1. बाल्कन क्षेत्र में यूरोप के अनेक देश अपना प्रभुत्व बढ़ाना चाहते थे इसलिए उन्होनें वहाँ की समस्या को ओर भी उलझनपूर्ण बना दिया ।
2. बाल्कन क्षेत्र एक के बाद एक उसके अधीन यूरोपीय राष्ट्रीयताएँ उसके चुगंल से बाहर निकलकर स्वतंत्रता की माँग करने लगे।
3. बाल्कन लोगों ने आजादी या राजनैतिक अधिकारों के अपने दावे को राष्ट्रीयता का आधार दिया । उन्होंने इतिहास का इस्तेमाल यह साबित करने के लिया कि वे कभी स्वतंत्र थे किन्तु विदेशी शक्तियों ने उन्हें अपने आधीन कर लिया ।
प्रश्न – एकीकृत इतावली गणराज्य के निर्माण में काउंट कैमिलों दे काबूर की भूमिका को स्पष्ट कीजिए ।
उत्तर – एकीकृत इतावली गणराज्य के निर्माण का वास्तविक श्रेय कैवूर को ही जाता हैं । 1852 में वह साड्निर्या में वह साडनिर्या का प्रधानमंत्री बना तथा इटली के एकीकरण के कार्य में जुट गया । उसने अपनी कूटनातिक चालों द्वारा इस कार्य को पूरा किया । उसने कई युद्धों में भाग लेकर इटली के राज्यों को साडनिर्या के साथ मिलाने का प्रयत्न किया । लोम्बार्डी , मोडेना , पार्मा टस्कनी आदि राज्य धीरे धीरे विदेशी सत्ता से छुटकारा प्राप्त कर साडनिर्या में जा मिले । इतिहासकार उसे ’इटली का विस्मार्क ’ कहते है ।
प्रश्न – फ्रांसीसी क्रांतिकारियों ने सामाजिक पहचान की भावना पैदा करने के लिए कौन से चार कदम उठाए ।
उत्तर – फ्रांसीसी क्रांतिकारियों ने सामाजिक पहचान की भावना पैदा करने के लिए निम्नलिखित चार कदम उठाए:
1. क्रांतिकारियों ने यह भी घोषण कि , कि युरोप के लोगों को निरंकुश शासकों से मुक्ति दिलाया जाय।
2. एक नया फ्रांसीसी झंडा तैयार किया गया जिसने पहले के राजध्वज की जगह ले ली |
3. सक्रिय नागरिकों द्वारा चुनी गई एक सभा का गठन किया गया जिसका नाम नेशनल एसेम्बली रखा गया ।
4. राष्ट्र के नाम पर नयी नयी स्तुतियाँ रची गई , शपथें ली गई और शहीदों का गुणगान किया गया ।
प्रश्न – 1804 की नागरिक संहिता के चार प्रमुख विशेषताओं का उल्लेख कीजिए |
उत्तर – 1804 की नागरिक संहिता के चार प्रमुख विशेषताएँ निम्नलिखित हैं:
1. इस संहिता ने जन्म पर आधारित विशेषाधिकार को समाप्त कर दिया ।
2. इसने कानून के समक्ष बराबरी और संपत्ति के अधिकार को सुरक्षित बनाया ।
3. इस संहिता ने प्रशासनिक विभाजनों को समाप्त किया , सांमंती व्यवस्था को खत्म किया और किसानों को भू-दासत्व और जागीदारों से मुक्ति दिलाई ।
4. शहरों मे भी कारीगरों के श्रेणी संघों के नियंत्रणों को हटा दिया गया । यातायात और संचार व्यवस्थाओं मे सुधार किया गया । किसानों , कारीगरो मजदूरों और नए उद्योगपतियों ने नयी आजादी चखी ।
प्रश्न – वियना संधि 1815 के चार प्रमुख विशेषताओं का उल्लेख करों |
उत्तर – वियना संधि 1815 के चार प्रमुख विशेषताँए:
1. सन् 1815 की वियना संधि ने उन कई सारे बदलावों को खत्म किया जो नेपोलियाई युद्धों के दौरान हुए थे ।
2. इस संधि ने फ्रांसीसी क्रांति के दौरान उठाए गए बुर्बो राजा जिन्हें सत्ता में ब
इलाकों को खो दिया जिन पर कब्जा उसने नेपोलियन के अधीन किया गया था ।
3. फ्रांस की सीमा पर कई राज्यकायम कर दिए गए ताकि भविष्य में फ्रांस विस्तार न कर सके ।
4. प्रशा को उसकी पश्चिमी सीमाओं पर महत्वपुर्ण नए इलाके सौपे गए जबकि आस्ट्रीया को उतरी इटली का नियंत्रण मिला ।
प्रश्न – ‘‘ यूरोप में 1830 का दशक भारी कठिनाइयाँ लेकर आया’’ । चार कारण बताइए ।
उत्तर – यूरोप में 1830 का दशक भारी कठिनाइयाँ लेकर आया जिसके चार कारण निम्न हैं:
1. यूरोप मे जनसंख्या में जबरदस्त वृद्धि हुई ।
2. ज्यादातर देशों में नोकरी ढुढ़ने वालों की तदाद उपलब्ध रोजगार से अधिक थी ।
3. नगरो के लघु उत्पादकों को अकसर इंग्लैंड से आयतित मशीन से बने सस्ते कपड़े से कड़ी प्रतिस्पर्धा का सामना करना पड़ रहा था ।
4. यूरोप के उन इलाकों में जहाँ कुलीन वर्ग अभी भी सत्ता में था क
था ।
प्रश्न – जर्मन एकीकरण प्रक्रिया के विभिन्न चरणों का उल्लेख कीजिए ।
उत्तर:
1. राष्ट्रवादी भावनाँए मध्य वर्ग के जर्मन के लोगों में काफी समय से थी । उन्होनें 1848 में जर्मन महांसघ के विभिन्न इलाकों को जोड़कर एक निर्वाचित संसद द्वारा शासित राष्ट्र राज्य बनाने का प्रयास किया ।
2. राष्ट्र निर्माण की यह उदारवादी पहल राजशाही व फौज की ताकत ने मिलकर दबा दी | उनका प्रशा के बड़े भू-स्वामियों ने भी समर्थन किया । ,
3. इसके पश्चात् प्रशा के प्रमुख मंत्री बिस्मार्क ने प्रशा की सेना और नौकरशाही की मदद की ।
4. सात साल के दौरान प्रशा ने आस्ट्रिया , डेनमार्क व फ्रांस को जीता । इस प्रकार जर्मन एकीकरण की प्रक्रिया पूरी हुई । सन् 1871 में राजा विलीयम प्रथम को जर्मनी का सम्राट घोषित किया गया ।
प्रश्न – एक्ट आफ यूनियन 1707 ने किस प्रकार इंग्लैड को व्यवहारिक रूप में स्काटलैंड में पर अपना प्रभुत्व स्थापित करने में सहायता की , चार बिंदुओ की व्याख्या कीजिए ।
उत्तर: (Not available)
प्रश्न – इटली के एकीकृत होने से पूर्व की चार परिस्थितियों का वर्णन करो ।
उत्तर – इटली के एकीकृत होने से पूर्व की चार परिस्थितियाँ निम्न हैं:
1. इटली अनेक वंशानुगत राज्यों तथा बहुराष्ट्रीय हैब्सबर्ग साम्राज्य में बिखरा हुआ था ।
2. 19वीं शताब्दी के मध्य में इटली सात राज्यों में बटाँ हुआ था जिनमें से केवल एक सार्डनिया पीडामाॅण्ट में एक इतावली गणराज्य का शासन था ।
3. उतरी भाग आस्ट्रियाई हैब्सबर्ग के अधीन था , मध्य इलाकों पर पोप का शासन था और दक्षिणी क्षेत्र स्पेन के बुर्बो राजाओं के अधीन था ।
4. इतावली भाषा ने भी साक्षा रूप हासिल नहीं किया था और अभी तक उसके विविध क्षेत्रीय और स्थानीय रूप मौजूद था ।
प्रश्न – ‘रूपक’ से क्या तात्पर्य हैं ? फ्रांस एवं जर्मनी के सन्दर्भ में इसकी व्याख्या कीजिए |
उत्तर – जब किसी अर्मूत विचार ( जैसे स्वतन्त्रता, मुक्ति, इर्ष्या को किसी व्यक्ति या चीज द्वारा इंगित किया जाता है तो उसे रूपक कहते हैं । रूपतामक कहावत के दो अर्थ होते हैं:- एक शाब्दिक ओर दूसरा प्रतीकात्मक । फ्रांसीसी क्रांति के दौरान कलाकारों ने स्वतंत्रता न्याय और गणतंत्र जैसे विचारों को व्यक्त करने के लिए प्रयोग किया । इन आदर्शो को विशेष वस्तुओं या प्रतीकों से व्यक्त किया गया । स्वतंत्रता का प्रतीक लाल टोपी या टूटी जंजीर और इंसाफ को आमतौर पर एक महिला के प्रतीकात्मक रूप से व्यक्त किया जाता हैं जिसकी आँखो पर पट्टी
बँधी हुई हैं और वह तराजू लिए हुए है । जर्मन में मारीआॅन की प्रतिमाँए सार्वजनिक चैकी पर लगाई गई ताकि जनता को एकता के राष्ट्रीय प्रतीक की याद आती रहे और लोग उससे तादात्मय स्थापित कर सकें । मारीआॅन की छवि सिक्को और डाक टिकटों पर अंकित की गई । इसी तरह जर्मेनेयिा जर्मन राष्ट्र का रूपक बन गई |
प्रश्न – आयरलैंड के संबंध में अंग्रेजी की नीति की प्रमुख विशेषताओं को स्पष्ट कीजिए ।
उत्तर – अंग्रजो न आयरलैंड में प्रोटेस्टेंट धर्म मानने वालों को बहुसंख्यक कैथिलिक देश पर प्रभुत्व बढ़ाने में सहायता की । वोल्फटोन और उसकी यूनाइटेड आयरिशमेन की अगुवाई में हुए सफल विद्रोह के बाद 1801 में आयरलैंड को बलपूर्वक यूनाइटेड किंग्डम में शामिल किया गया । एक नए ब्रितानी राष्ट्र का निर्माण किया गया जिस पर हावी आंग्ल संस्कृति का प्रचार प्रसार किया गया ।
1. निम्नलिखित पर टिप्पणी लिखिए ?
(क) ज्युसेपे मेत्सिनी
(ख) काउंट कैमिलो दे कावूर
(ग) यूनानी स्वतंत्रता युद्ध
(घ) फ्रैंकफ़र्ट ससंद
(ड) राष्ट्रवादी संघर्षो में महिलाओ की भूमिका
उत्तर :- (क) ज्युसेपे मेत्सिनी :- ज्युसेपे मेत्सिनी इटली का क्रांतिकारी था जिसने पहले कर्बोनारी नामक गुप्त संगठन की सदस्यता ली| इन्होने अपने उदारवाद और राष्ट्रवाद के विचारों का प्रसार किया| इनका विचार था कि राष्ट्र ही मनुष्यों की प्राकृतिक ईकाई हैं और इटली छोटे राज्यों और और प्रदेशों के पैबन्दो की तरह नहीं रह सकता| इटली के एकीकरण में उसकी देन विद्रोह की नहीं थी बल्कि उसके द्वारा संगठित इटली के निर्माण के विचार थे| उनके आदर्शवादी विचारो ने लोगो में उत्साह भर दिया| ऑस्ट्रिया का चांसलर मेटरनिख, मेत्सिनी को ‘ समाजिक व्यवस्था का खतरनाक दुश्मन ‘ बताता था|
(ख) काउंट कैमिलो दे कावूर :- काउंट कैमिलो दे कावूर विक्टर इमेनुएल द्वितीय का प्रमुख मंत्री था| यह न तो क्रांतिकारी था और न ही जनतंत्र में विश्वास करता था| इसने इटली के प्रदेशो को एकीकृत करने वाले आन्दोलन का नेतृत्व किया| कावूर की चतुर कूटनीति के फलस्वरूप उत्तरी राज्यों पर अधिकार कर के पीडमाउन्ट का विस्तार हो गया| कावूर की सबसे बड़ी देन विक्टर इमेनुएल द्वितीय को भेजकर गैरीबौल्डी को रोकना था ताकि वह रोम में फ़्रांसीसी सैनिकों पर हमला न करे अन्यथा फ्रांसीसी पीडमाउन्ट पर हमला कर देते| उसने विक्टर इमेनुएल द्वितीय को गैरीबौल्डी के पास भेजा| गैरीबौल्डी ने आशा के विपरीत, जो राज्य जीते थे उनको सम्राट को सौप दिए| इस प्रकार कावूर ने अपनी कूटनीति से इटली का एकीकरण में महत्वपूर्ण योगदान दिया|
(ग) यूनानी स्वतंत्रता युद्ध :- पंद्रहवी शताब्दी में यूनान ऑटोमन साम्राज्य का भाग था| क्रांतिकारी राष्ट्रवाद के उदय के पश्चात् 1821 में यूनान में स्वतंत्रता के लिए संघर्ष प्रारंभ हुआ| इस संघर्ष को पश्चिमी यूरोप के लोगों, कवियों और कलाकरों का समर्थन मिला क्योंकि यह सभी प्राचीन संस्कृति के प्रति सहानुभूति रखते हैं| कवियों और कलाकरों ने यूनान को यूरोपीय सभ्यता का पालन बता कर प्रशंसा की और एक मुस्लिम साम्राज्य के विरुद्ध यूनान के संघर्ष के लिए जनमत जुटाया|
(घ) फ्रैंकफ़र्ट ससंद :- अभी जर्मनी, इटली, पोलैंड आदि स्वतंत्र राष्ट्र राज्यों का निर्माण नहीं हुआ था अतः वहां पर मध्यवर्ग ने बढ़ते असंतोष का लाभ उठाया| उन्होंने संविधान वाद की म्कांग को राष्ट्रीय एकीकरण की मांग से जोड़ दिया और एक राष्ट्र-राज्य के निर्माण की मांग को आगे बढ़ाया| इसीलिए जर्मन क्षेत्र के कई राजनीतिक संगठनों ने फ्रैंकफर्ट शहर में एक सर्व-जर्मन नेशनल एसेंबली की स्थापना का प्रयत्न किया| फ्रैंकफर्ट संसद को केवल नैतिक शक्ति प्राप्त थी| संसद द्वारा जर्मनी को एकता व संविधान प्रदान करने का प्रयत्न किया गया| यह निर्णय लिया गया कि वंशानुगत साम्राज्य हो तथा प्रशा का राज इसका मुखिया हो| संसद पर मध्यम वर्गों का प्रभुत्व था और वे मजदूरों और कारीगरों की मांगो के विरुद्ध थे| इस प्रकार संसद ने उनका समर्थन भी खो दिया| तत्पश्चात सैनिक शक्ति का प्रयोग किया गया| तथा फ्रैंकफर्ट संसद भंग कर दी गई |
(ड) राष्ट्रवादी संघर्षो में महिलाओ की भूमिका :- राष्ट्रवादी संघर्षो के समय महिलाओ को राजनैतिक अधिकार प्रदान करने का प्रश्न विवादास्पद था| परन्तु इसके बावजूद महिलाओ ने राष्ट्रवादी संघर्षों में सक्र्री रूपों से भाग लिया| महिलाओं ने अपने संगठन स्थापित किये| के महिलाओं ने अपने अखबार निकलने प्रारंभ किए तथा अपने लिए राजनीतिक अधिकारों की मांग की| महिलाओं ने राजनीतिक बैठकों और प्रदर्शनियों में भाग लिया फिर भी उन्हें मताधिकार से वंचित रखा गया| यहाँ तक की सेंट पॉल चर्च में फ्रैंकफर्ट संसद की सभा में भी महिलाओ को केवल प्रेक्षकों के रूप में दर्शक-दीर्घा में खड़ा होने दिया|
2. फ़्रांसीसी लोगों के बीच सामूहिक पहचान का भाव पैदा करने के लिए फ़्रांसीसी क्रांतिकारियो ने क्या कदम उठाए ?
उत्तर :- फ़्रांसीसी लोगों के बीच सामूहिक पहचान का भाव पैदा करने के लिए निम्नलिखित कदम उठाए गए:-
(i) फ़्रांस का नया तिरंगा झंडा चुना गया जिसने पहले के राजध्वज की जगह ले ली| और इस्टेट जनरल का नाम नेशनल एसेंबली रखा गया|
(ii) राष्ट्र के नाम पर नई शपथें ली गई और शहीदों का गुणगान किया गया|
(iii) एक केन्द्रीय प्रशासनिक व्यवस्था लागू की गई|
(iv) सभी नागरिकों के लिए समान काननों बनाए गए |
(v) आंतरिक आयत-निर्यात शुल्क समाप्त कर दिया गया|
(vi) भार नापने के लिए एक समान प्रणाली लागू की गई|
3. मारीआन और जर्मेनिया कौन थे ? जिस तरह उन्हें चित्रित किया गया उनका क्या महत्व था ?
उत्तर :- मारीआन :- उस समय राष्ट्र को नारी भेष में प्रस्तुत किया जाता था| यह राष्ट्र को व्यक्ति का जामा पहनते हुए राष्ट्र के अमूर्त विचार को ठोस रूप प्रदान करने का प्रयास था अर्थात् नारी की छवि राष्ट्र की रूपक बन गई| फ़्रांस में इसे मारीआन और जर्मनी में इसे जर्मनिया का नाम दिया|
अठारहवी और उन्नीसवी शताब्दी में कलाकारों ने राष्ट्र का मानवीकरण करके एक देश का चित्रण इस प्रकार किया जैसे वह कोई व्यक्ति हो| इनका निम्नलिखित महत्त्व था:-
(i) फ़्रांस में मारीआन की प्रतिमाएँ सार्वजनिक चौकों पर लगे गयी ताकि जनता को एकता के राष्ट्रीय प्रतीक की याद आती रहे और लोग उससे तादात्मय स्थापित कर सके|
(ii) मारीआन की छवि सिक्को और डाक टिकटों पर अंकित की गई हैं|
(iii) इसी प्रकार जर्मनिया जर्मन राष्ट्र का स्वरूप बन गई|
4. जर्मन एकीकरण कि प्रक्रिया का संक्षेप में पता लगाइए ?
उत्तर :- (i)1848 के पश्चात यूरोप में राष्ट्रवाद का जनतंत्र और अलगाव होने लगा| राष्ट्रवादी भावनाए मध्यमवर्गीय जर्मन लोगो में काफी व्याप्त थी|
(ii) फ्रैंकफर्ट ससाद को दबाने में प्रशा के बड़े भूस्वामियों ने भी समर्थन किया|
(iii) बिस्मार्क ने ‘ रक्त और लौह ‘ की नीति के अंतर्गत डेनमार्क, ऑस्ट्रिया और फ्रांस के साथ तीन युद्ध किये| उसके अनुसार महत्वपूर्ण प्रश्नों को संसद या संसदीय साधनों द्वारा नहीं सुलझाया जा सकता|
(iv) उसने 1864 में डेनमार्क और 1866 में ऑस्ट्रिया को पराजित किया| इसके परिणामस्वरुप ऑस्ट्रिया को जर्मन क्षेत्रों से निकाल दिया गया| तीसरा युद्ध फ़्रांस के साथ 1870 में हुआ जिसमे फ़्रांस की पराजय हुई|
(v) इस प्रकार जर्मनी का एकीकरण हुआ|
5. अपने शासन वाले क्षेत्रो में शासन व्यवस्था को ज्यादा कुशल बनाने के लिए नेपोलियन ने क्या बदलाव किए ?
उत्तर :- नेपोलियन द्वारा निम्नलिखित बदलाव:-
(i) 1804 की ‘ नेपोलियन की संहिता ‘ द्वारा जन्म पर आधारित विशेषाधिकार समाप्त कर दिए गए| अब कानून के समक्ष सभी बराबर थे तथा उनके संपत्ति के अधिकार को भी सुरक्षित किया गया|
(ii) डच गणतंत्र, स्विट्ज़रलैंड, इटली और जर्मनी में प्रशासनिक विभाजनों को सरल बनाया गया|
(iii) सामंती व्यवस्था को समाप्त किया गया उर किसानों को भू-दासत्व और जागीदारी शुल्को से मुक्ति दिलाई गई|
(iv) शहरों में कारीगरों की श्रेणीं-संघो के नियंत्रण को हटा दिया गया|
(v) यातायात और संचार व्यवस्थाओ में सुधार किया गया|
चर्चा करे:
1. उदारवादियों की 1848 की क्रांति का क्या अर्थ लगाया जाता है? उदारवादियों ने किन राजनीतिक, सामाजिक एवं आर्थिक विचारों को बढ़ावा दिया?
उत्तर: उदारवादियों की 1848 की क्रांति का अर्थ :- फ़्रांस में फ़रवरी 1848 की घटनाओ से राजा की गद्दी छोडनी पड़ी और एक गणतंत्र की घोषणा की गई जो सभी पुरुषों के सार्वभौमिक मताधिकार पर आधारित था|
उदारवादियों ने निम्नलिखित विचारों को बढ़ावा दिया:-
(i) राजनीतिक विचार :- उदारवादी सहमती से बनी सरकार पर बल देते हैं| उदारवादी प्रेस की स्वतंत्रता और संगठन बनाने की आज़ादी जैसे सिद्धांतो पर आधारित राष्ट्र राज्य क्र पक्ष में थे| महिलाओ को राजनैतिक काधिकार देने का प्रश्न विवादास्पद था|
(ii) सामाजिक विचार:- उदारवादी समाज़ में विशेषाधिकारों के विरुद्ध थे|
(iii)आर्थिक विचार :- उदारवादी बाज़ारों की मुक्ति और चीज़ों तथा पूँजी के आवागमन पर राज्य द्वारा लगाए गए नियंत्रणों को समाप्त करने के पक्ष में थे|
2. यूरोप में राष्ट्रवाद के विकास में संस्कृति के योगदान को दर्शाने के लिए तीन उदाहरण दें।
उत्तर: यूरोप में राष्ट्रवाद के विकास में संस्कृति के योगदान निम्नलिखित रहा:-
(i) लोकगीत व लोकनृत्य की भूमिका:- रूमानी कलाकारों और कवियों ने एक साझा-सम्मोहिक विरासत की अनुभूति और एक साझा सांस्कृतिक अतीत को राष्ट्र का आधार बनाने का पक्ष लिया| साधारणतया रूमानी कलाकारों और कवियों ने तर्क-वितर्क और विज्ञान के महिमामंडल की आलोचना की और उसके स्थान पर भावनाओ, अंतर्दृष्टि और रहस्यवादी भावनाओ पर जोर दिया|
(ii) संगीत और भाषा का योगदान :- पोलैंड में जिसका रूस, प्रशिया, और ऑस्ट्रिया द्वारा विभाजन किया गया था, संगीत और भाषा के द्वारा राष्ट्रीय भावना को विकसित रखा गया |
(iii) भाषा:- राष्ट्रीय भावना के विकास में भाषा का भी योगदान रहा, जैसे कि पोलैंड पर रूसी कब्जे के पश्चात पोलिश भाषा के स्थान पर रूसी भाषा को स्व्हूलो में लगाने पर 1831 में विद्रोह हुआ, यद्यपि विद्रोह असफल रहा, परन्तु भाषा राष्ट्रवादी विरोध का आधार बन गई|
3. किन्हीं दो देशों पर ध्यान केंद्रित करते हुए बताएँ कि उन्नीसवीं सदी में राष्ट्र किस प्रकार विकसित हुए।
उत्तर: उन्नीसवीं सदी में दो प्रमुख राष्ट्रों जर्मनी और इटली का विकास निम्नलिखित रूप से हुआ:-
(i) जैसे-जैसे रूढ़िवादियों ने अपनी शक्ति को सुदृढ़ किया, इटली, जर्मनी, तथा अन्य क्षेत्रो में उदारवाद और राष्ट्रवाद की क्रांति से जोड़ा गया क्योंकि के क्रांतियों का नेतृत्व उदारवादी-राष्ट्रवादी द्वारा किया गया था और इसमें शिक्षित मध्यवर्गीय विशिष्ट लोग सम्मिलित थे|
(ii) इस दौरान राष्ट्रवादी भावनाओ के विकास में संस्कृति की महत्वपूर्ण भूमिका रही |
(iii) जर्मन क्षेत्र फ्रैंकफर्ट में संसद का आयोजन करके जर्मन राष्ट्र के लिए एक संविधान तैयार किया गया परन्तु यह प्रयत्न असफल रहा|
(iv) इस प्रकार जर्मनी में राष्ट्र निर्माण प्रक्रिया में प्रशा राज्य की शक्ति का प्रभुत्व रहा और बाकि जर्मनी के लिए उसकी व्यवस्थाएं एक मॉडल बनी| इसी प्रकार इटली की राष्ट्र राज्य निर्माण की प्रक्रिया में कावूर, गैरीबौल्डी, मेत्सिनी का योगदान रहा| इटली का एकीकरण सार्डीनिया-पीडमाउन्ट के नेतृत्व में हुआ , इससे यह प्रमाणित होता हैं कि सैनिक शक्ति के सहयोग से राष्ट्र निर्माण हो सकता हैं|
4. ब्रिटेन में राष्ट्रवाद का इतिहास शेष यूरोप की तुलना में किस प्रकार भिन्न था?
उत्तर: (i) ब्रिटेन में राष्ट्र-राज्य का निर्माण अचानक हुई किसी उथल-पुथल या क्रांति क परिणाम नहीं था| यह एक लंबी प्रक्रिया का नतीजा था|
(ii) अठाहरवी सदी से पूर्व ब्रितानी राष्ट्र नहीं था|
(iii) समय के साथ जैसे जैसे आंग्ल राष्ट्र की धन-दौलत, अहमियत और सत्ता में वृद्धि हुई वह द्वीपसमूह के अन्य राष्ट्रीय पर अपना प्रभुत्व बढाने में सफल हुए|
(iv) एक नए ब्रितानी रास्त का निर्माण हुआ जिसके अपने प्रतीक चिन्ह, ब्रितानी झंडा और राष्ट्र गान थे| इस प्रकार ब्रिटेन में राष्ट्रवाद का इतिहास शेष पूरे यूरोप से भिन्न था|
5. बाल्कन प्रदेशों में राष्ट्रवादी तनाव क्यों पनपा?
उत्तर: बाल्कन प्रदेशों में राष्ट्रवादी तनाव पनपने के निम्नलिखित कारण थे:-
(i) बाल्कन क्षेत्र के लोगो को साधारणतया ‘स्लाव’ पुकारा जाता था|
(ii) बाल्कन क्षेत्र का एक बड़ा भाग ओटोमन साम्राज्य के नियंत्रण में था|
(iii) बाल्कन क्षेत्र में रूमानी राष्ट्रवाद के विचारो के फैलने और ओटोमन साम्राज्य के विघटन से स्थिति काफी विस्फोटक हो गई|
(iv) बाल्कन राज्य में भारी ईर्ष्या थी और हर राज्य अपने साथ अधिक से अधिक भूमि पर अधिकार करना चाहता था|